4788.*पूर्णिका*
4788.*पूर्णिका*
🌷 ख्वाब पाला हमने 🌷
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ख्वाब पाला हमने।
घास डाला हमने।।
प्यार दिल में रखते।
पहन माला हमने।।
दर्द सहा कैसे भी ।
पांव छाला हमने।।
देख खोला हरदम।
बंद ताला हमने।।
बांट खुशियाँ खेदू।
नेक ढ़ाला हमने ।।
………✍ डॉ.खेदू भारती “सत्येश”
31-10-2024बुधवार