4577.*पूर्णिका*
4577.*पूर्णिका*
🌷 मिलती है सब कुछ चाहने की बात है 🌷
22 22 2212 2212
मिलती है सब कुछ चाहने की बात है ।
खिलते मन कलियाँ चाहने की बात है ।।
देखो रहती हरदम जहाँ मस्त जिंदगी।
बस दिल से सच में चाहने की बात है ।।
प्यार यहाँ रंगे रंग सुंदर घोलते।
रंग निराला यूं चाहने की बात है ।।
दुनिया कहती गम भी नहीं होती खुशी।
देख शुकून यारा चाहने की बात है ।।
मंजिल अपनी खेदू यहाँ पग चूमती।
वक्त अपना साथी चाहने की बात है ।।
…….✍️ डॉ. खेदू भारती “सत्येश “
08-10-2024 मंगलवार