3101.*पूर्णिका*
3101.*पूर्णिका*
🌷 उतर के दिल में देखोगे🌷
2122 22 22
उतर के दिल में देखोगे।
प्यार है कितना देखोगे।।
खूबसूरत दुनिया अपनी।
रोज तुम जितना देखोगे।।
जिंदगी महके फूलों सा।
यार हर सपना देखोगे।।
बस ज़रुरत होती सबको।
बेजुबां अपना देखोगे।।
यूं हसरतें रखते खेदू ।
दामन यहाँ सच देखोगे।।
………✍ डॉ .खेदू भारती”सत्येश”
10-03-2024रविवार