2317.पूर्णिका
2317.पूर्णिका
🌹कोई साथ रहता नहीं 🌹
22 212 212
कोई साथ रहता नहीं ।
दिल की बात कहता नहीं ।।
देखो क्या जमाना यहाँ ।
दर्द भी तनिक सहता नहीं ।।
दुनिया मतलबी बेरहम ।
यूं ही खून बहता नहीं ।।
कहते प्यार में प्यार हो ।
सच दीवार ढ़हता नहीं ।।
साथी आज खेदू जहाँ ।
बोलों कौन चहता नहीं ।।
……….✍डॉ .खेदू भारती”सत्येश”
30-7-2023रविवार