✍️तुम ख़ुद ✍️
रास्ता फूलों से भरा हो या काटों से,
उस पर चलोगे तुम ख़ुद,
मुसीबतें एक आए या हज़ार,
उनसे लड़ोगे तुम ख़ुद,
पाठ किताबों का हो या ज़िंदगी का,
उनसे सीख लोगे तुम ख़ुद,
सामने पहाड़ हो या समंदर,
उसे पार करोगे तुम ख़ुद,
बिगड़ना है या कुछ बन जाना है,
ये सही फैसला लोगे तुम ख़ुद,
तुम्हारे चाहने से ना हालात बदलेंगे ना लोग,
सपने तुमने देखे है उन्हे पूरा करोगे तुम ख़ुद।
✍️वैष्णवी गुप्ता
कौशांबी