हमारे प्राणवायु पूजनीय पेड़ ।
हमारे प्राणवायु पूजनीय पेड़ ।
1. जामुन का पेड़
2. नीम का पेड़
3.पीपल का पेड़
4. अशोक का पेड
5. अर्जून का पेड़
6. बरगद का पेड़
जब जब भंयकर आपदा – विपदा आती हैं , प्रकृति मानव का साथ छोड़ती हैं ,
और भंयकर महामारी के रुप में कोरोना संक्रमण बिमारी तेजी से फैलती हैं ।
सीधा हमारे सांस तंत्र पर हमला होता हैं । हमारी साधारण ब्रिदिग में रुकावट आती हैं ।
हमें तुरन्त अगर आक्सीजन नहीं मिला व अन्य डाक्टर के निर्देश में उपचार नहीं
मिला तो समजो हमारी जीवन लीला समाप्त ।
हमने भी हमारे अंधाधुंध विकास मेंं हजारों मिल सिमेंट के रास्ते बनाकर योगदान दिया हैं, लेकिन उसके अनुपात में महत्वपूर्ण पेड़ तो दूर किसी प्रकार के पेड़ नहीं लगाये ।
लाखों-करोड़ों सिलेंडर से भी ज्यादा ऑक्सीजऊन पैदा करते हैं ये 6 पेड़, बड़ी-बड़ी फैक्ट्री भी इनके सामने हो जाएंगी फेल भारत में अचानक कोरोना की दूसरी लहर के बीच अस्पतालों में बेड और ऑक्सीजन (Oxygen) की कमी देखने को मिल रही है. एक्सपर्ट्स (Experts) का कहना है कि अगर 6 पेड़ ज्यादा से ज्यादा लगाए गए होते तो देश में कभी भी ऑक्सीजन की कमी नहीं होती. जहां पहले पेड़ों से ऑक्सीजन मिलती थी, अब फैक्टरी में इनका निर्माण होने लगा है.
समय के साथ आधुनिक होती दुनिया ने पेड़ों की जमकर कटाई की, जिसका नतीजा निकला पर्यावरण में ऑक्सीजन की कमी. अब एक्सपर्ट्स ने कहा है कि अगर दुनिया में पेड़ ना हों, तो कितनी भी फैक्ट्री लगा दें, ऑक्सीजन की कमी होगी ही. उन्होंने 6 तरह के पेड़ों के बारे में बताते हुए कहा कि लोगों को अभी भी जागरूक होकर इन 6 तरह के पेड़ों को लगाना चाहिए.
हमारे प्राणवायु देने वाले महत्वपूर्ण पेड़ -नीम के पेड़ में कई औषधीय गुण हैं. ये पेड़ पर्यावरण को साफ़ रखने में मदद करता है. ये एक तरह से नेचुरल एयर प्यूरीफायर है. ये वातावरण में मौजूद गंदगी को साफ़ कर हवा में ऑक्सीजन की मात्रा बढ़ाती है. एक्सपर्ट्स का कहना है कि नीम के पेड़ को लगाने से आसपास की हवा में मौजूद बैक्टेरिया मर जाते हैं.
जामुन का पेड़
जामुन तो आपने काफी खाए होंगे. इसके बीज भी काफी फायदेमंद होते हैं. लेकिन इसके पेड़ को कम ना समझें. ??जामुन का पेड़ सल्फर और नाइट्रोजन जैसे गैसों को शुद्ध बना देता है. साथ ही काफी ज्यादा ऑक्सीजन भी रिलीज करता है.
बरगद का पेड़ –
नेशनल ट्री कहा जाता है. हिन्दुओं में भी इस पेड़ की पूजा की जाती है. ये पेड़ भी काफी विशाल होता है. बरगद के पेड़ की एक खासियत है कि ये पेड़ कितना ऑक्सीजन बनाएगा, ये बात इसकी छाया पर निर्भर करता है. यानी जितना बड़ा और घना पेड़ होगा, उतनी ही ज्यादा इससे ऑक्सीजन मिल पाएगी.
पीपल का पेड़ –
पीपल का पेड़ किसी अन्य पेड़ की तुलना में सबसे ज्यादा ऑक्सीजन का निर्माण करता है. ये पेड़ 60 से 80 फ़ीट तक लंबा हो सकता है. हिन्दुओं में तो इस पेड़ का धार्मिक महत्व भी है. ये पेड़ अपनी पूरी जिंदगी में इतना ऑक्सीजन बना सकता है जितना कई फैक्टरीज भी नहीं कर पाते हैं.
अशोक का पेड़ –
अशोक का पेड़ भारी मात्रा में ऑक्सीजन का निर्माण कर पर्यावरण में छोड़ता है. इसे लगाने से ना सिर्फ ऑक्सीजन की मात्रा बढ़ती है बल्कि ये पेड़ दूषित गैसों को भी सोख कर शुद्ध बना देती है.
अशोक का वृक्ष वात-पित्त आदि दोष, अपच, तृषा, दाह, कृमि, शोथ, विष तथा रक्त विकार नष्ट करने वाला है। यह रसायन
और उत्तेजक है। इसके उपयोग से चर्म रोग भी दूर होता है। Pk महिलाओं के लिए इसके रस से दवाई भी बनती है।
अर्जुन का पेड़
अर्जुन के पेड़ का हिन्दू धर्म में काफी महत्व है. इसे माता सीता का फेवरिट माना जाता है.
इसके कई आयुर्वेदिक फायदे हैं. ना सिर्फ ये
पेड़ ऑक्सीजन की मात्रा बढ़ाने में मदद
करता है बल्कि दूषित गैसों को सोखकर
शुद्ध बना देता है.
बरगद के पेड़ को नेशनल ट्री कहा जाता है. हिन्दुओं में भी इस पेड़ की पूजा की जाती है. ये पेड़ भी काफी विशाल होता है. बरगद के पेड़ की एक खासियत है कि ये पेड़ कितना ऑक्सीजन बनाएगा, ये बात इसकी छाया पर निर्भर करता है. यानी जितना बड़ा और घना पेड़ होगा, उतनी ही ज्यादा इससे ऑक्सीजन मिल पाएगी.
राजू गजभिये
(हिंदी साहित्य सम्मेलन )