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20 Jun 2021 · 1 min read

” मुक्तक “

” हमारा पर्यावरण ” ©
??????
___________________

तारीफ़ पेड़-पौधों-लताओं की
करें चाहे जितनी, हैं उतनी कम |
जीवन सम्बंधित, ये सब कुछ देते
निस्वार्थ सर्वजीव, हैं इनका प्रेम ||

~~~ ~~~~

अस्तित्व हैं हम सबका, इस शरीर से
अगर ये ना रहा तो, अपना अंत साफ हैं |
करें हम योग,साफ हवा और हरियाली में
तो हर बीमारियां, हमको माफ़ हैं ||

~~~ ~~~~

अगर चाहते हो, दिल से तुम अपनों को
और पूर्वज दें हमें हमेशा ,अपने दर्श |
तो पेड़ लगाओ, उनकी याद में ऐसा
जो रहे हरा-भरा, लाखों-हज़ारों वर्ष ||

~~~ ~~~~

हरियाली से रहती हैं, हमेशा हवा साफ
साफ हवा से ही चली हैं, लम्बी अपनी सांस |
सांस से ही तो बँधी हैं, सबके जीने की आस
और इसी आस से तो हैं, हमें जीवन का अहसास ||

__________________

स्वरचित एवं
मौलिक रचना

लेखिका :-
©✍️सुजाता कुमारी सैनी “मिटाँवा”
लेकन की तिथि :- 20 जून 2021

Language: Hindi
258 Views
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