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24 Mar 2022 · 1 min read

सदा माँ शुभ विचारों से (भक्ति- गीत)

सदा माँ शुभ विचारों से (भक्ति- गीत)
■■■■■■■■■■■■■■■■■■■
हमारी जिंदगी भरना सदा माँ शुभ विचारों से
(1)
हमें दो वस्तुएँ जग में, भले कम या भले ज्यादा
हमें देना सदा निर्लोभ मन ,जीवन सरल सादा
हमें साहस अमिट देना ,न घबराएँ प्रहारों से
(2)
भँवर में फँस अगर जाएँ उबरना हमको सिखलाना
हमें सागर से आ जाए किनारे तैर कर जाना
डरें बरसात-गर्मी से नहीं जाड़ों की मारों से
हमारी जिंदगी भरना सदा माँ शुभ विचारों से
——————————————————
रचयिता :रवि प्रकाश ,बाजार सर्राफा
रामपुर (उ.प्र)मोबाइल 9997615451

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