Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
2 Mar 2020 · 1 min read

सच्चाई की मूठ

जबसे सबने छोड़ दी,.सच्चाई की मूठ ।
बाजारों में बिक गया,झटपट सारा झूठ ।।

जल्दी से भरते नही,…वहाँ दिलों के घाव ।
धू धू कर के जल गया ,जहाँ प्रेम सद्भाव ।।
रमेश शर्मा

Language: Hindi
2 Likes · 341 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
प्रोफेसर ईश्वर शरण सिंहल का साहित्यिक योगदान (लेख)
प्रोफेसर ईश्वर शरण सिंहल का साहित्यिक योगदान (लेख)
Ravi Prakash
विघ्नेश्वराय वरदाय सुरप्रियाय लम्बोदराय सकलाय जगद्धितायं।
विघ्नेश्वराय वरदाय सुरप्रियाय लम्बोदराय सकलाय जगद्धितायं।
Shashi Dhar Kumar
गीतिका और ग़ज़ल
गीतिका और ग़ज़ल
आचार्य ओम नीरव
चौमासे में मरें या वर्षा का इंतजार करें ,
चौमासे में मरें या वर्षा का इंतजार करें ,
ओनिका सेतिया 'अनु '
"सिलसिला"
Dr. Kishan tandon kranti
होली है ....
होली है ....
Kshma Urmila
विश्वास
विश्वास
धर्मेंद्र अरोड़ा मुसाफ़िर
अंधभक्ति
अंधभक्ति
मनोज कर्ण
मौन
मौन
DR ARUN KUMAR SHASTRI
FOR THE TREE
FOR THE TREE
SURYA PRAKASH SHARMA
होके रुकसत कहा जाओगे
होके रुकसत कहा जाओगे
Awneesh kumar
दिल पहले शीशा था,अब पत्थर बना लिया।
दिल पहले शीशा था,अब पत्थर बना लिया।
Priya princess panwar
गुलाल का रंग, गुब्बारों की मार,
गुलाल का रंग, गुब्बारों की मार,
Ranjeet kumar patre
नौकरी
नौकरी
Rajendra Kushwaha
अज्ञानी ज्ञानी हुए,
अज्ञानी ज्ञानी हुए,
sushil sarna
परिवार जनों का प्रेम स्नेह ही जीवन की असली पूंजी है और परिवा
परिवार जनों का प्रेम स्नेह ही जीवन की असली पूंजी है और परिवा
Shashi kala vyas
Even the most lovable, emotional person gets exhausted if it
Even the most lovable, emotional person gets exhausted if it
पूर्वार्थ
नया साल
नया साल
विजय कुमार अग्रवाल
ख्वाब
ख्वाब
Dinesh Kumar Gangwar
प्रेम मे डुबी दो रुहएं
प्रेम मे डुबी दो रुहएं
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
दिल कहे..!
दिल कहे..!
Niharika Verma
माता रानी दर्श का
माता रानी दर्श का
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
वो दौर अलग था, ये दौर अलग है,
वो दौर अलग था, ये दौर अलग है,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
हम आज भी
हम आज भी
Dr fauzia Naseem shad
ज़िंदगी एक कहानी बनकर रह जाती है
ज़िंदगी एक कहानी बनकर रह जाती है
Bhupendra Rawat
23/29.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
23/29.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
कुछ अपनी कुछ उनकी बातें।
कुछ अपनी कुछ उनकी बातें।
सत्य कुमार प्रेमी
दिवाली
दिवाली
Ashok deep
जीवन के पल दो चार
जीवन के पल दो चार
Bodhisatva kastooriya
" वतन "
भगवती प्रसाद व्यास " नीरद "
Loading...