सकारात्मक आदतें अपनायें I
एक पुरानी कहावत है कि बुढ़े कुत्ते को कलाबाजी नहीं सिखायी जा सकती है , लेकिन हम तो फ़िर भी इंसान ही है I हर व्यक्ती अपना अच्छा बुरा भली भाँति जानता है I चोर भी चोरी का धंधा अपनाते हुए सौ बार सोचता है और यह जानता भी है कि वह गलती कर रहा है और इसके परिणाम से भी वाकिफ़ होता है I लेकिन अल्पकालीनता के लिये वह अंधकार की जिंदगी मे खुश होने का चोबा पहन लेता है I बदले मे वह अपना मान मर्यादा ,सम्मान दाव पर लगा देता है I कोई भी बुरी आदत अपनाने मे अल्प मात्र समय ही लगता है I बुरी आदतें जल्दी घर बना लेती है लेकिन अच्छी आदतो को अपनाने मे दीर्घ समय लगता है I खीर मे भी स्वाद तभी आता है जब वह धीमी आंच पर अच्छे से पकती है, शानदार मिठास और मावे से सजावट हो I व्यक्ति की अच्छी आदते फ़िर उसका अच्छा व्यवहार उसके व्यक्तिव मे खीर जैसा स्वाद पैदा कर देता है I एक सफ़ल अच्छे व्यक्ति के जीवन को गहराई से झान्के तो उसने अपने जीवन में बहुत सारी अच्छी आदते अपनाई होती है वह अनुशासन, मेहनत तथा आदर्शो के पथ पर चलता है I हमारे पास बुरी आदतो के बद्लाव को बहुत सारे बहाने होते है जैसे कि मै क्या करु ?अब मुझसे और कुछ नहीं होता? मै अकेला ही गन्दी आदत का शिकार नहीं हू, एक दो गन्दी आदतो से कुछ नहीं बिगड़ता, मित्र पका मत ज्यादा, मुझे भी पता है I इस तरह के जुमले बोलकर हम खुद को समझा लेते है और गौरवान्तित महसूस करते है I सकारात्मक आदते व्यक्ति विशेष की पहचान होती है I हमारी आदते कुम्हार के चाक से बने मिट्टी के बर्तन जैसी होती है,हमे जैसी आदत बनाते है ,बनती चली जाती है, और हमारी आदत ही हमे बनाती है I अच्छा, आदर्श और सकरात्मक बनने के लिए बहुत कुछ त्याग करना पड़ता है I अच्छी आदते अपनाय , निश्चित ही आप खुद मे अधिक मजबूत, ऊर्जावान और शक्तिशाली महसूस करेंगे I
युक्ति वार्ष्णेय “सरला”
मुरादाबाद