शिक्षक दिवस 3
जो मन में ही हो निराशा तो कही सावन नही मिलते ,
जो कीमत हो न गुरुवर की कही ज्ञानी नही मिलते ।
कि जिसके दिल मे गुरुवर की कही मूरत नही कोई
उन्हें पत्थर ही दिखते है कही ईश्वर नही मिलते ।।
जो मन में ही हो निराशा तो कही सावन नही मिलते ,
जो कीमत हो न गुरुवर की कही ज्ञानी नही मिलते ।
कि जिसके दिल मे गुरुवर की कही मूरत नही कोई
उन्हें पत्थर ही दिखते है कही ईश्वर नही मिलते ।।