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10 Apr 2017 · 1 min read

शायरी

वक्त पर ना फिसले तो फिसलना
बेकार है जवानी निकल गई
फिर घर से निकलना बेकार है
Anuj yadav
mob. 7398621625

Language: Hindi
Tag: शेर
594 Views

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