वो जानता तो सब कुछ था पर मुझे छिपाकर चलता था।
वो जानता तो सब कुछ था पर मुझे छिपाकर चलता था।
मैने उससे किया दिखावा का प्यार पर उसे वह सच्चा ही समझता था।
एक दिन उसने मुझसे बोला यदि मैं कह देता तुमसे ही तुम्हारी हकीकत तो गिरा हुआ महसूस करती तुम अपने को मेरी नजरों में तुम्हे फिर बदली हुई नजर आती मेरी सूरत।
तेरे हर नजर को नजरंदाज कर दिया तू जैसी भी है तुझे स्वीकार कर लिया।
RJ Anand prajapati