Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
23 Jun 2024 · 1 min read

वो अपने दर्द में उलझे रहे

वो अपने दर्द में उलझे रहे
दर्द ए दिल किसी ने पूछा तक नहीं
अहंकारी और न जानें क्या क्या मान बैठे

_ सोनम पुनीत दुबे

2 Likes · 105 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Sonam Puneet Dubey
View all
You may also like:
मिन्नते की थी उनकी
मिन्नते की थी उनकी
Chitra Bisht
कोहरा और कोहरा
कोहरा और कोहरा
Ghanshyam Poddar
*****रामलला*****
*****रामलला*****
Kavita Chouhan
Good things fall apart so that the best can come together.
Good things fall apart so that the best can come together.
Manisha Manjari
हौसलों कि उड़ान
हौसलों कि उड़ान
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
भाव और ऊर्जा
भाव और ऊर्जा
कवि रमेशराज
*परिमल पंचपदी--- नवीन विधा*
*परिमल पंचपदी--- नवीन विधा*
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
"देह एक शीशी सदृश और आत्मा इत्र।
*प्रणय*
*ऋषिगण देते हैं शाप अगर, निज भंग तपस्या करते हैं (राधेश्यामी
*ऋषिगण देते हैं शाप अगर, निज भंग तपस्या करते हैं (राधेश्यामी
Ravi Prakash
अंग प्रदर्शन करने वाले जितने भी कलाकार है उनके चरित्र का अस्
अंग प्रदर्शन करने वाले जितने भी कलाकार है उनके चरित्र का अस्
Rj Anand Prajapati
पीछे तो उसके जमाना पड़ा था, गैरों सगों का तो कुनबा खड़ा था।
पीछे तो उसके जमाना पड़ा था, गैरों सगों का तो कुनबा खड़ा था।
Sanjay ' शून्य'
बुझाने को तैयार हैं कई दिल की आग को,
बुझाने को तैयार हैं कई दिल की आग को,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
एक कलाकार/ साहित्यकार को ,
एक कलाकार/ साहित्यकार को ,
ओनिका सेतिया 'अनु '
खत पढ़कर तू अपने वतन का
खत पढ़कर तू अपने वतन का
gurudeenverma198
ग़ज़ल(इश्क में घुल गयी वो ,डली ज़िन्दगी --)
ग़ज़ल(इश्क में घुल गयी वो ,डली ज़िन्दगी --)
डॉक्टर रागिनी
24, *ईक्सवी- सदी*
24, *ईक्सवी- सदी*
Dr .Shweta sood 'Madhu'
खुली आँख से तुम ना दिखती, सपनों में ही आती हो।
खुली आँख से तुम ना दिखती, सपनों में ही आती हो।
लालबहादुर चौरसिया लाल
कब तक कौन रहेगा साथी
कब तक कौन रहेगा साथी
Ramswaroop Dinkar
नियम
नियम
Ajay Mishra
बस यूँ ही
बस यूँ ही
Neelam Sharma
समय का खेल
समय का खेल
Adha Deshwal
तिलक लगाओ माथ या,
तिलक लगाओ माथ या,
sushil sarna
दोहा समीक्षा- राजीव नामदेव राना लिधौरी
दोहा समीक्षा- राजीव नामदेव राना लिधौरी
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
स्त्री नख से शिख तक सुंदर होती है ,पुरुष नहीं .
स्त्री नख से शिख तक सुंदर होती है ,पुरुष नहीं .
पूर्वार्थ
3749.💐 *पूर्णिका* 💐
3749.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
" शबाब "
Dr. Kishan tandon kranti
बिन तुम्हारे अख़बार हो जाता हूँ
बिन तुम्हारे अख़बार हो जाता हूँ
डॉ.एल. सी. जैदिया 'जैदि'
विचारों में मतभेद
विचारों में मतभेद
Dr fauzia Naseem shad
अंतर्राष्ट्रीय नशा निवारण दिवस पर ...
अंतर्राष्ट्रीय नशा निवारण दिवस पर ...
डॉ.सीमा अग्रवाल
नानी का गांव
नानी का गांव
साहित्य गौरव
Loading...