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17 Jul 2024 · 1 min read

लोग कितनी आशा लगाकर यहाॅं आते हैं…

लोग कितनी आशा लगाकर यहाॅं आते हैं…
फिर कोई क्यों उनके जीवन से खेल जाते हैं,
बात कोई छोटी नहीं किसी की रोजी-रोटी की है,
वक्त पर प्रोत्साहन के बजाय गर्त में धकेल जाते हैं।

…. अजित कर्ण ✍️

1 Like · 38 Views
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