लॉकडाउन
गर्दिश मे लगता है कभी कभी ये लॉकडाउन का सवेरा,
आँखों मे छा जाता है, कोहरा अंधेरा गहरा…!
जिंदगी की कोई राह नज़र ना आती है,,हर तरफ है इतना पहरा,
कुछ दिनों से लग रहा है जैसे जीवन रह गया हो ठहरा…..!!
गर्दिश मे लगता है कभी कभी ये लॉकडाउन का सवेरा,
आँखों मे छा जाता है, कोहरा अंधेरा गहरा…!
जिंदगी की कोई राह नज़र ना आती है,,हर तरफ है इतना पहरा,
कुछ दिनों से लग रहा है जैसे जीवन रह गया हो ठहरा…..!!