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31 Aug 2021 · 1 min read

राह ए मुहोबत

उफ्फ ! कितनी दुश्वार है ये राह ए मुहोबत,
मंजिल दूर तलक नजर आती नहीं ।
नाखुदा है कहां मेरा , ए खुदा बता !
उसके बिना कश्ती साहिल पर लग सकती नहीं ।

Language: Hindi
Tag: शेर
1 Like · 2 Comments · 232 Views
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