Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
16 Sep 2021 · 1 min read

यादें

भुला न सकोगे मैं आबाद रहूँगा,
तुम न भी मिलो तो याद रहूँगा।???️

Language: Hindi
Tag: शेर
1 Like · 461 Views

You may also like these posts

फरवरी तु भी कमाल
फरवरी तु भी कमाल
Deepali Kalra
तुम अपना भी  जरा ढंग देखो
तुम अपना भी जरा ढंग देखो
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
स्त्रियां, स्त्रियों को डस लेती हैं
स्त्रियां, स्त्रियों को डस लेती हैं
पूर्वार्थ
DR ARUN KUMAR SHASTRI
DR ARUN KUMAR SHASTRI
DR ARUN KUMAR SHASTRI
মন তুমি শুধু শিব বলো
মন তুমি শুধু শিব বলো
Arghyadeep Chakraborty
धनुष वर्ण पिरामिड
धनुष वर्ण पिरामिड
Rambali Mishra
..
..
*प्रणय*
जिंदगी अजाब है ..
जिंदगी अजाब है ..
ओनिका सेतिया 'अनु '
वक्त के संग हो बदलाव जरूरी तो नहीं।
वक्त के संग हो बदलाव जरूरी तो नहीं।
Kumar Kalhans
सब्ज़ियाँ(आलू की बारात)
सब्ज़ियाँ(आलू की बारात)
Dr. Vaishali Verma
तेरी उल्फत के वो नज़ारे हमने भी बहुत देखें हैं,
तेरी उल्फत के वो नज़ारे हमने भी बहुत देखें हैं,
manjula chauhan
तेरे नयनों ने यह क्या जादू किया
तेरे नयनों ने यह क्या जादू किया
gurudeenverma198
चलने दे मुझे... राह एकाकी....
चलने दे मुझे... राह एकाकी....
पं अंजू पांडेय अश्रु
यें जो तेरे-मेरे दरम्यां खाई है
यें जो तेरे-मेरे दरम्यां खाई है
Keshav kishor Kumar
टैडी बीयर
टैडी बीयर
हिमांशु बडोनी (दयानिधि)
ऐ मोनाल तूॅ आ
ऐ मोनाल तूॅ आ
Mohan Pandey
पलटू चाचा
पलटू चाचा
Aman Kumar Holy
एक उम्मीद छोटी सी...
एक उम्मीद छोटी सी...
NAVNEET SINGH
*नहीं समस्या का हल कोई, किंचित आलौकिक निकलेगा (राधेश्यामी छं
*नहीं समस्या का हल कोई, किंचित आलौकिक निकलेगा (राधेश्यामी छं
Ravi Prakash
निस्वार्थ प्रेम में,
निस्वार्थ प्रेम में,
Kanchan Alok Malu
-खाली जेब की कसौटी -
-खाली जेब की कसौटी -
bharat gehlot
मेरे प्रेम पत्र
मेरे प्रेम पत्र
विजय कुमार नामदेव
आदमी कई दफ़ा झूठ बोलता है,
आदमी कई दफ़ा झूठ बोलता है,
Ajit Kumar "Karn"
ज़िन्दगी
ज़िन्दगी
Dr. Bharati Varma Bourai
बात तो बहुत कुछ कहा इस जुबान ने।
बात तो बहुत कुछ कहा इस जुबान ने।
Rj Anand Prajapati
ख्वाब जब टूटने ही हैं तो हम उन्हें बुनते क्यों हैं
ख्वाब जब टूटने ही हैं तो हम उन्हें बुनते क्यों हैं
PRADYUMNA AROTHIYA
" इलाज "
Dr. Kishan tandon kranti
3331.⚘ *पूर्णिका* ⚘
3331.⚘ *पूर्णिका* ⚘
Dr.Khedu Bharti
ज़िन्दगी जीने की जद्दोजहद में
ज़िन्दगी जीने की जद्दोजहद में
लक्ष्मी सिंह
दुःख ले कर क्यो चलते तो ?
दुःख ले कर क्यो चलते तो ?
Buddha Prakash
Loading...