मुश्किल में
सुलग रहा है और धुआँ सा है कुछ
कुछ आग सा लग रहा है तेरे दिल में
बड़ी कश्मकश है पर बता तो सही
तूँ मुश्किल में है या मैं मुश्किल में
-सिद्धार्थ गोरखपुरी
सुलग रहा है और धुआँ सा है कुछ
कुछ आग सा लग रहा है तेरे दिल में
बड़ी कश्मकश है पर बता तो सही
तूँ मुश्किल में है या मैं मुश्किल में
-सिद्धार्थ गोरखपुरी