मिथिला बनाम तिरहुत।
मिथिला बनाम तिरहुत।
-आचार्य रामानंद मंडल।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी दरभंगा मे एम्स के शिलान्यास कार्यक्रम मे कहलन कि एम्स के निर्माण से मिथिला आ तिरहुत के संगे सम्पूर्ण उत्तर बिहार के स्वास्थ्य सेवा लाभ मिलत आ विकास होयत।वोइ आधार पर तिरहुत मिथिला न हय आ न एकर मातृभाषा मैथिली हय।
मिथिलाविद् रेवती रमण झा के अनुसार मिथिला माने ओ सांस्कृतिक क्षेत्र जत’ के लोक भाषा मानक मैथिली अछि। तिरहुत माने ओ भौगौलिक क्षेत्र जे विदेह कहबै छल ।
ओना प्रस्तावित मिथिला राज्यमे उत्तर आ दक्षिण बिहारक ओ समस्त क्षेत्र अबैयै ,जत’ मानक समेत मैथिलीक अन्य बोली सभ बाजल जाइयै(ग्रियर्सनक भाषा सर्वेक्षण आ भाषाई मानचित्रक आधार पर)।
आब गंगा के दच्छिणी भू भाग केना मिथिला आ तिरहुत क्षेत्र मानल जतैय।मान लू कि अमेरिका कोनो भूभाग के लोग मैथिली बोले लगतैय कि वो मिथिला हो जतैय।दोसर मिथिला आ तिरहुत क्षेत्र विदेह रहैय। दोसर बात इ कि भौगोलिक क्षेत्र राज्य के निर्धारण करैय छैय सांस्कृतिक क्षेत्र न।
भौगोलिक प्राकृतिक आ राजनीतिक सेहो होइ छै।आब जे उत्तर बिहार हय वो दू भाग में बंटल हय मिथिला आ तिरहुत में। सम्पूर्ण उत्तर बिहार प्राकृतिक रूप से आ भौगोलिक रूप से मिथिला न हय। विद्वान महंत अशोक कुमार दास के अनुसार मिथिला के चौहद्दी उत्तर में हिम क्षेत्र , दक्षिण में गंगा,पूरब में कोशी क्षेत्र आ पश्चिम में नारायणी वा गंडकी कहल गेल हय। प्राकृतिक नक्शा समय के संग बदलैत रहय छै।आइ जे मिथिला क्षेत्र हय वोइसे प्राचीन मिथिला बड नम्हर रहैय। जेइ पूर्खक मिथिला भूभाग के लेल सीता लड़लन वो चीन आ कोरिया मे हय।आब रामायण में त तिरहुत क्षेत्र के मिथिला कहल गेल हय संगे दरभंगा क्षेत्र के सेहो मिथिला कहल गेल हय जैमे सीता उद्भव आ अहिल्या उद्धार स्थल हय।तब केना सांस्कृतिक क्षेत्र मिथिला आ भौगोलिक क्षेत्र तिरहुत कहल जतैय। कोनो तथ्य सही न लगैय हय। विभिन्न तथ्य मे मतान्तर हय। जौं महर्षि बाल्मीकि आ संत तुलसीदास मतैक्य न छतन त बांकी के कोन हाल।आब सांस्कृतिक, भौगोलिक आ भाषा बोली क्षेत्र न। राजनीतिक बिहार के प्रशासनिक, विकास आ सीमांचल रक्षा के कारण बंटवारा होय। उत्तर बिहार अर्थात मिथिला राज्य। परंतु सम्पूर्ण राज्य न कि केंद्र शासित प्रदेश।सधन्यवाद।
@आचार्य रामानंद मंडल, सीतामढ़ी।