माँ मुक्तक
माँ
कि बचपन में गुजारा पल हमें अब याद आता है।
लगा जो आँख में काजल हमें अब याद आता है।
जो लोरी और थपकी से सुलाती थी हमे गोदी
वही ममता भरा आँचल हमें अब याद आता है।
हमारी दिल कि पीड़ा को हमेशा जान लेती है।
हमारे दर्द को वो दर्द अपना मान लेती है।
कभी भी जो अचानक में मुसीबत आ गिरे हमपर
वो गहरी नींद में भी आहटें पहचान लेती है।
अदम्य