भोजन की थाली लगे
कुंडलिया छंद…
भोजन थाली से लगे, यदि करने आकृष्ट।
लक्षण यह सबसे बड़ा, होने का स्वादिष्ट।।
होने का स्वादिष्ट, भाव अन्तर्मन आता।
व्यंजन देख सनेह, हृदय गद्गद हो गाता।।
पाते हैं यश हाथ, सदा करते जो शोधन।
नारी की पहचान, कराते ‘राही’ भोजन।।
डाॅ. राजेन्द्र सिंह ‘राही’