गीतिका
मिला है कोष जो प्रभु से लुटाना भूल मत जाना।
किसी रोते हुए को तुम हँसाना भूल मत जाना।।1
बड़े अनमोल होते हैं ,सभी संबंध दुनिया में,
कोई यदि रूठ जाए तो मनाना भूल मत जाना।।2
नई पीढ़ी बिना भटके करेगी प्राप्त गौरव को,
उन्हें सद्ज्ञान की बातें सिखाना भूल मत जाना।।3
मनाओ हर खुशी मिलकर तभी तो दोगुनी होगी,
बनाए मित्र जो उनको बुलाना भूल मत जाना।।4
हताशा दुःख में सारे नहीं पतवार बनते हैं,
जो आएँ आँख में आँसू छुपाना भूल मत जाना।।5
शहर ये हादसों का है रहे बस ध्यान इतना-सा,
मिले जो हाथ उससे तुम मिलाना भूल मत जाना।।6
पतित को पूत करती है प्रदूषित हो भले गंगा,
मिले जब भी कभी मौका नहाना भूल मत जाना।।7
डाॅ बिपिन पाण्डेय