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20 Nov 2018 · 1 min read

बेटियों को समर्पित गीत- सजे साज सरगम, घड़ी है सुहानी।

सजे साज सरगम, घड़ी है सुहानी।
ख़ुशी का समा जन्मी बिटिया रानी।।
नुपुर बज उठे जब, चले गुड़िया रानी।
सजे साज सरगम, घड़ी है सुहानी।।

मेरे दिल की धड़कन, बनी मेरी बिटिया।
महल बन गया घर, जो था एक कुटिया।।
चमन खिल उठा जब, हँसी बिटिया रानी।
नुपुर बज उठे जब,चले गुड़िया रानी।।

था घर मे बहुत कुछ, न रौनक कोई थी।
मेरी प्यास जन्मों की जब बुझ गई थी।।
जो गुड़िया के हाथों मिला मुझको पानी।
नुपुर बज उठे जब,चले गुड़िया रानी।।
✍?अरविंद राजपूत ‘कल्प’

Language: Hindi
Tag: गीत
2 Likes · 1 Comment · 367 Views
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