बाबा भीम आये हैं
(शेर)- नहीं कोई उनसा जमीं पर, जैसे बाबा भीम है।
मसीहा मानव जाति के, दुनिया में बाबा भीम है।।
करो स्वागत उनका फूलों से, देखो बाबा भीम आये हैं।
विश्व रत्न और ज्ञान के प्रतीक, दुनिया में बाबा भीम है।।
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बजाओ बाजा स्वागत में, बाबा भीम आये हैं।
सजावो फूलों से राह, बाबा भीम आये हैं।।
बजाओ बाजा स्वागत में———————-।।
इनके चेहरे का तेज, करें रोशन हम सबको।
इनकी अंगुली का इशारा, दिखाये राह हम सबको।।
दिखाने हमको सही मंजिल, बाबा भीम आये हैं।
जलावो दीप स्वागत में, बाबा भीम आये हैं।।
बजाओ बाजा स्वागत में———————–।।
इनके हाथ का संविधान, देता है सबको न्याय- अधिकार।
इनकी शिक्षा और ज्ञान का, लोहा मानता है संसार।।
शिक्षा है शेरनी का दूध, बताने भीम आये हैं।
बरसाओ फूल तुम उन पर, बाबा भीम आये हैं।।
बजाओ बाजा स्वागत में———————-।।
बाबा भीम मसीहा है, सभी धर्मों जाति के।
बाबा भीम उद्वारक है, बहुजन- नारी जाति के।।
बचाने इंसानियत को, बाबा भीम आये हैं।
करो स्वागत तुम चलकर, बाबा भीम हैं।।
बजाओ बाजा स्वागत में———————–।।
शिक्षक एवं साहित्यकार
गुरुदीन वर्मा उर्फ़ जी.आज़ाद
तहसील एवं जिला- बारां(राजस्थान)