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7 May 2024 · 1 min read

बांध लो बेशक बेड़ियाँ कई,

बांध लो बेशक बेड़ियाँ कई,
पर मन को बांध न पाओगे
रोक सके उड़ान कल्पनाओं के,
वो जंजीर कहाँ से लाओगे

©️ डॉ. शशांक शर्मा “रईस”

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