#बहुत_जल्द
#बहुत_जल्द
■ अगर नहीं समझे मुल्क़।
“अपना कारोबार चलाने के ख़ातिर,
कहीं पे बारिश कहीं पे छाता तानेगा।
अमरीका का इक बूढ़ा-खूसट नेता,
दुनिया को शमशान बना के मानेगा।।”
■प्रणय प्रभात■
#बहुत_जल्द
■ अगर नहीं समझे मुल्क़।
“अपना कारोबार चलाने के ख़ातिर,
कहीं पे बारिश कहीं पे छाता तानेगा।
अमरीका का इक बूढ़ा-खूसट नेता,
दुनिया को शमशान बना के मानेगा।।”
■प्रणय प्रभात■