Sahityapedia
Login
Create Account
Home
Search
Dashboard
0
Notifications
Settings
शेखर सिंह
19 Followers
Follow
Report this post
26 Apr 2024 · 1 min read
बड़ी दूर तक याद आते हैं,
बड़ी दूर तक याद आते हैं,
सफर में बेवक्त बिछड़ने वाले,,,!!!
Tag:
Quote Writer
Like
Share
147 Views
Share
Facebook
Twitter
WhatsApp
Copy link to share
Copy
Link copied!
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Join Sahityapedia on Whatsapp
You may also like:
चाहे हमें तुम कुछ भी समझो
gurudeenverma198
"ओ मेरे मांझी"
Dr. Kishan tandon kranti
विषय:गुलाब
Harminder Kaur
विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
दीवाने खाटू धाम के चले हैं दिल थाम के
Khaimsingh Saini
दशहरा
शालिनी राय 'डिम्पल'✍️
"पुरे दिन का सफर कर ,रवि चला अपने घर ,
Neeraj kumar Soni
प्राकृतिक जब ठहर जाती है।
Rj Anand Prajapati
जो ले जाये उस पार दिल में ऐसी तमन्ना न रख
भवानी सिंह धानका 'भूधर'
The World at a Crossroad: Navigating the Shadows of Violence and Contemplated World War
Shyam Sundar Subramanian
*इमली (बाल कविता)*
Ravi Prakash
बहुत कुछ बोल सकता हु,
Awneesh kumar
सोचा ना था
Swami Ganganiya
Don't let people who have given up on your dreams lead you a
पूर्वार्थ
चरम सुख
मनोज कर्ण
सिपाही
Neeraj Agarwal
सुप्रभात
डॉक्टर रागिनी
नवरात्रि गीत
ईश्वर दयाल गोस्वामी
इश्क़ से अपने कुछ चुने लम्हें
Sandeep Thakur
ऐसी थी बेख़्याली
Dr fauzia Naseem shad
बेटियां / बेटे
Mamta Singh Devaa
है सच्ची हुकूमत दिल की सियासत पर,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
बर्दास्त की आख़िर हद तक देखा मैंने,
ओसमणी साहू 'ओश'
नर से नर पिशाच की यात्रा
Sanjay ' शून्य'
😟 काश ! इन पंक्तियों में आवाज़ होती 😟
Shivkumar barman
मचलते है जब दिल फ़िज़ा भी रंगीन लगती है,
डी. के. निवातिया
ढ़लती हुई
हिमांशु Kulshrestha
3260.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
- शेखर सिंह
शेखर सिंह
*हिंदी तो मेरे मन में है*
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
Loading...