बचपन
बचपन
हेतना पानी , घोघारानी
हमहूँ कहियो खेलले बानी
रौनक रहे दिनों भर तहवाँ
जाने समय गइल ऊ कहवाँ
घर के कवनो फिकिर रहे ना
कामकाज के जिकिर रहे ना
सबकर सभे इयार रहे जी
सबका सबसे प्यार रहे जी
मानव सोचि-सोचि पछताई
अवधू बचपन फेरु न आई
अवध किशोर ‘अवधू’
मोबाइल नंबर 9918854285