प्रेम संदेश
अवयस्क मेघ के हाथों से
वयस्क संदेशा भेजा था
क्या मिला तुम्हें ?
वह अषाढ़ था ये सावन है
रिमझिम रिमझिम मनभावन है
पर खले हमें ।
अनमोल उम्र इस जीवन की
चलती है लेकिन रुकी रुकी
पर किसे कहें ।
मन की पीड़ा का संदेशा
अंदेशा था पर भेजा था
क्या मिला तुम्हें ?