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10 May 2021 · 1 min read

प्रीत मुक्तक

बना ली है जगह दिल में किया है काम कुछ ऐसा।
दिया है प्रीत में उसने सरस सरनाम कुछ ऐसा।
गयी वो फेर के नजरें जमाने के बहाने से,
इशारों में दिया उसने मुझे पैगाम कुछ ऐसा।

अभिनव मिश्र अदम्य

Language: Hindi
2 Likes · 236 Views
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