*पशु- पक्षियों की आवाजें*
पशु- पक्षियों की आवाजें(बाल कविता)
मुर्गा बोले कुकड़ू कू।
कबूतर बोले गुटर गूं।
तोता बोले टैं टैं।
बकरी बोले मैं मैं।
चूहा बोले चरचर।
मेंढक बोले टर्र टर्र।
मक्खी करती भीं भीं।
टिटहरी बोले टीं टीं।
चिड़ियां बोले चीं चीं।
खरगोश बोले कि कि।
भालू रीछ हैं गुर्राते।
भैंस गाय बैल रंभाते।
तेंदुआ शेर चीता दहाड़ लगाते।
हाथी चिंघाड़े घोड़े हिनहिनाते।
सारे पक्षी हैं चहचहाते।
बत्तख बोले कां कां।
कौआ बोले कांव कांव।
बिल्ली बोले म्याऊं म्याऊं।
कुत्ता भौंके ऊंट बलबलाता।
बन्दर देखो को है चिल्लाता।
गिद्ध बाज चील चीखते।
गधा रेंगता गीदड़ रोता।
सारस देखो क्रें क्रें कहता।
कोयल कूके बुलबुल गाती।
दुष्यन्त कुमार की कविता हमको,
खूब सुहाती खूब सूहाती।।