दिल ने दिल को दे दिया, उल्फ़त का पैग़ाम ।
दिल ने दिल को दे दिया, उल्फ़त का पैग़ाम ।
बोसों की बौछार में, शाम हुई बदनाम ।
जुल्फों की गिरफ्त में, काटी तमाम रात –
आँखों ने भर-भर पिए, फिर आँखों से जाम ।
सुशील सरना /30-1-24
दिल ने दिल को दे दिया, उल्फ़त का पैग़ाम ।
बोसों की बौछार में, शाम हुई बदनाम ।
जुल्फों की गिरफ्त में, काटी तमाम रात –
आँखों ने भर-भर पिए, फिर आँखों से जाम ।
सुशील सरना /30-1-24