“तेरी याद”
“तेरी याद”
याद आती है उसकी,
समुद्र में उठी लहरों की तरह
यादों की है गहरी समन्दर,
नाविक आ पतवार चला…
यादों के भंवर में, यूं न रुक जाना
गर हो मन में मंजिल पाने की चाहत,
हाथों से पतवार चलाना,
आ जाऊं जब यादों में, बस एक आवाज लगाना।।
“तेरी याद”
याद आती है उसकी,
समुद्र में उठी लहरों की तरह
यादों की है गहरी समन्दर,
नाविक आ पतवार चला…
यादों के भंवर में, यूं न रुक जाना
गर हो मन में मंजिल पाने की चाहत,
हाथों से पतवार चलाना,
आ जाऊं जब यादों में, बस एक आवाज लगाना।।