तुम्हारी याद में कैसे
दिने मनहूस लम्हे को जो तन्हाई में जीते हैं।
लगे जो ज़ख्म हैं दिल पे,वफाओ से ही सीते हैं।
ना तुमको ख्याल है कोई तुम्हारी याद में कैसे,
हमारे दिन तो बस यारो, यूँ रो-रोकर जो बीते हैं।
दिने मनहूस लम्हे को जो तन्हाई में जीते हैं।
लगे जो ज़ख्म हैं दिल पे,वफाओ से ही सीते हैं।
ना तुमको ख्याल है कोई तुम्हारी याद में कैसे,
हमारे दिन तो बस यारो, यूँ रो-रोकर जो बीते हैं।