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5 Nov 2024 · 1 min read

ज़िन्दगी से नहीं कोई शिकवा,

ज़िन्दगी से नहीं कोई शिकवा,
बे-वजह नम ये हो गईं आंखें।
डाॅ फ़ौज़िया नसीम शाद

1 Like · 13 Views
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