*जब से आया व्हाट्सएप मम्मियाँ काम कब करतीं (हास्य गीत)*
जब से आया व्हाट्सएप ,मम्मियाँ काम कब करतीं (हास्य गीत)
—————————————-
सुबह हुई तो उठकर पहले
व्हाट्सएप को खोला
क्या मैसेज किस-किसके आए
घंटों खूब टटोला
चाय नाश्ता गया भाड़ में
पेट इसी से भरतीं
पापाओं को देखो
यह भी दो मीटर हैं आगे
लगे सुबह से व्हाट्सएप में
दफ्तर दस पर भागे
वहाँ बॉस की नजरें
मोबाइल पर इन्हें अखरतीं
बच्चे व्हाट्सएप को पीते
सिर्फ फेसबुक खाते
पढ़ना-लिखना चौपट
सोने संग इसी के जाते
बुरा हाल हो गया उंगलियॉं
सब की दिखीं अकड़तीं
जब से आया व्हाट्सएप,
मम्मियाँ काम कब करतीं ?
—————————————-
रचयिता : रवि प्रकाश
बाजार सर्राफा ,रामपुर (उत्तर प्रदेश)
मोबाइल 99976 15451