जन सेवक
चुनाव लडा़या पत्नी को ,खुद राजा बन बैठ गये।
पुत्र उनके भी पापा निकले, एस० पी ०साहब से ऐंठ गये
सरकारी सम्पत्ती पर कब्जा, खनन से माल कमायेगे।
जितना खर्चा है वोटो में, गुणा हजार बनायेगे।
चन्द सिक्कों की खातिर ,चमचे आपस मे लड़वायेगे।
उनका सिर उन्ही का जूता, फैसला हम करायेगे ।
सरकारी अधिकारी से अपना हिस्सा नियत करायेगे।
जो हमरे विपरीत चलेगा, बदली तुरन्त करायेगे।
हम जनसेवक सच्चे है, ये सी ०एम० को बतलायेगे।
हमको मनमानी करने दो ,वरना सरकार गिरायेगे।
डरा सी० एम ०हड़काया डी० एम०, नेता का सम्मान करो
सभी योजना ताक पर रखदो, पहले इनका काम करो।
खत्म स्वार्थ की राजनीति हो, धन कमाना खेल न हो।
जो इन जैसा काम करे ,नेता तुरन्त जेल मे हो।
कोई ऐसा कानून बने, बन्द कमीशन खोरी हो।
नेतागिरी खत्म करने को, वोटर के हाथ डोरी हो।