जिंदगी रुठ कर इस कदर कहाँ जाएगी
तेरी गली में बदनाम हों, हम वो आशिक नहीं
आइना देखा तो खुद चकरा गए।
विचार में जीने से बेहतर हृदय में जीना चाहिए। - रविकेश झा
खींचातानी कर रहे, सारे नेता लोग
राह मुझको दिखाना, गर गलत कदम हो मेरा
सावन बरसे झूम के,ननदी झूला झूल।
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
★HAPPY BIRTHDAY SHIVANSH BHAI★
चुनौति हमेशा बड़ा लेना चाहिए,
ग़ज़ल _ इस जहां में आप जैसा ।
Maine apne samaj me aurto ko tutate dekha hai,
जिंदगी भी एक सांसों का रैन बसेरा है
दर्द ना अश्कों का है ना ही किसी घाव का है.!
ईश्वर के सम्मुख अनुरोध भी जरूरी है