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21 Apr 2022 · 1 min read

चिड़िया रानी

चिड़िया चूंँ-चूँ कर गाती हैं,
सुबह चहक कर जगाती हैं ,

पंख फैलाकर फुर्र हो जाती ,
है नन्ही-सी पर हाथ नहीं आती ,

घास-फूस चोंच में है लाती ,
छोटा-सा घोंसला फिर है बनाती ,

बच्चों अंडों को वहांँ है रखती ,
दाना चुगने उड़ है जाती ,

चोंच में अपने दाना भर लाती,
प्यार से बच्चों को दाना है खिलाती ,

चिड़िया रानी छोटी सी होकर भी ,
कितनी सयानी नजर है आती ।

✍🏼
बुद्ध प्रकाश
मौदहा हमीरपुर ।

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