चाहत है तो रुसवाई का इमकान बहुत है। हर शख्स दिल लगा के परेशान बहुत है।
चाहत है तो रुसवाई का इमकान बहुत है।
हर शख्स दिल लगा के परेशान बहुत है।
मिलने के लिए ज़िद ये किया करता है अक्सर।
बच्चों सा मेरा दिल है,कि नादान बहुत है।।
डॉक्टर सगीर अहमद सिद्दीकी खैरा बाजार बहराइच