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25 Sep 2020 · 1 min read

चली चली बिटिया हमसे दूर चली (विदाई गीत)

***बिटिया के प्रति,पिता के भाव आज की आवश्यकता***
!!!!! भावात्मक गीत !!!!!
बिटिया बनकर आज दुल्हनिया ,बाबुल का घर छोड़ चली।
संग गुजारे लम्हे लम्हे, यादों की बारात चली।
चली चली चली चली ,बिटिया हमसे दूर चली।।

(१) जिस दिन तेरा जन्म हुआ था, मेरे प्यारे आंगन में।
लाखों खुशियां उमड़ घुमड़ कर ,लेटी मां के दामन में।।
संकट कितने भी आए हो, सुख से तुझको पाला है।
मंगल बेला पुण्य दिवस में, दी तुझको वरमाला है ।।
बेटी मेरी शिक्षा दीक्षा, पहुंचाना तू गली गली।
चली चली चली चली ,बिटिया हमसे दूर चली।।
(२) हृदय के आंसू तेरी विदाई ,हम सब मिलकर सह लेंगे।
अखंड रहे सुहाग तेरा ,आशीर्वचन यह कह देंगे।।
मात-पिता हम बनेंगे तेरे ,अपने प्रियवर साजन के।
खुशियों की फुहार पड़े नित, जैसे बदरा सावन के।।
लो समधी जी सौप रहे हैं ,बिटिया हमारी नाजो पली ।
चली चली चली चली, बिटिया हमसे दूर चली।।

**इस गीत के दो चरण और है जिन्हें बाद में प्रेषित किया जाएगा**।– राजेश व्यास अनुनय (मेरी प्रत्येक रचना स्वरचित है सर्वाधिकार सुरक्षित रहे)

Language: Hindi
Tag: गीत
4 Likes · 4 Comments · 580 Views
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