चलते रहे थके नहीं कब हौसला था कम
चलते रहे थके नहीं कब हौसला था कम
आईं भी अड़चनें बड़ी रोके न पर कदम
हर हार को बदलते रहे जीत में यहाँ
लक्षित शिखर को इसलिए ही छू सके थे हम
डॉ अर्चना गुप्ता
04.11.2024
चलते रहे थके नहीं कब हौसला था कम
आईं भी अड़चनें बड़ी रोके न पर कदम
हर हार को बदलते रहे जीत में यहाँ
लक्षित शिखर को इसलिए ही छू सके थे हम
डॉ अर्चना गुप्ता
04.11.2024