गौमाता
सब देवों का अंश है, तुझमे ही गौ मात।
कहते वेद पुराण भी, पूजनीय है गात।
मंथन से निकली तुम्हीं, कामधेनु है नाम।
अमृत जैसा दूध है, सदा ही आता काम।
हर युग में गौ पूज्य है, घर में पालो गाय।
दूध दही घी खाइये, रोग निकट नहि आय।
गौ माता का राखिये, जग में लोंगो मान।
जिस घर में गौ मात है, वो घर स्वर्ग समान।
देखो कैसे गाय पर, बढ़ते अब अन्याय।
घर में कुत्ते पालते, सड़को पर हैं गाय।
अभिनव मिश्र”अदम्य