ग़ज़ल- राना सवाल रखता है
#जय_बुंदेली_साहित्य_समूह #टीकमगढ़
#ग़ज़ल- राना सवाल रखता है-*
उसी से रिश्ता बनाते जो माल रखता है।
जहां में कौन किसी का ख्याल रखता है।।
मतदाता भी लाचार है और लालची।
चुनाव में तो वो, वादों का जाल रखता है।।
साथ चल तू व़क्त के पीछे न देख।
कौन इस दौर में कछुए सी चाल रखता है।।
कभी तो मिहिरवान होगा ख़ुदा भी।
क्यों अपने दिल में मलाल रखता है।।
इंसानियत जहान से अब खो गई कहाँ ?
सभी के सामने ‘राना’ सवाल रखता है।।
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– #राजीव_नामदेव #राना_लिधौरी
संपादक-“आकांक्षा” हिंदी पत्रिका
संपादक- ‘अनुश्रुति’ बुंदेली पत्रिका
जिलाध्यक्ष म.प्र. लेखक संघ टीकमगढ़
अध्यक्ष वनमाली सृजन केन्द्र टीकमगढ़
नई चर्च के पीछे, शिवनगर कालोनी,
टीकमगढ़ (मप्र)-472001
मोबाइल- 9893520965
Email – ranalidhori@gmail.com
*( राना का नज़राना (ग़ज़ल संग्रह-2015)- राजीव नामदेव ‘राना लिधौरी’ के ग़ज़ल-80 पेज-88 से साभार