कोई इशारा हो जाए
हम तो मान चुके हैं तुम्हें अपना कभी से,
तेरी तरफ से भी कोई इशारा हो जाए।
प्यार तो वो है जो इंसान को और बेहतर कर दे,
वो मोहब्बत ही क्या जिस में कोई नकारा हो जाए।
लगता है डर गमें जुदाई से अब तो मुझे,
आ जाओ तुम तो दूर ये ख्याल हमारा हो जाए।
तुम किसी और के हो जाओ ये कैसे होने देंगे हम,
तुम्हें तुम्हारी परछाई के साथ देखना ही जब हमको न ग्वारा हो जाए।