कैसा हो सरपंच हमारा / (समसामयिक गीत)
कैसा हो
सरपंच हमारा ?
टंच-फंच हो,
सहनशील हो ।
कोट पहनकर
नोट भरे जो,
चोटिल करके
चोट भरे जो ।
पहले मारे
फिर पुचकारे,
हाथ जोड़ ले
फिर धुतकारे ।
कैसा हो
सरपंच हमारा ?
तोता भी हो
और चील हो ।
ये भी खा ले,
वो भी खा ले,
और बचे जो
वो भी खा ले ।
खाते-खाते
ख़ूब खिलाए,
पीते-पीते
ख़ूब पिलाए ।
कैसा हो
सरपंच हमारा ?
दारू बाली
एक झील हो ।
फर्सी खा ले,
नाली खा ले,
जनता की सौ
गाली खा ले ।
कागज पर जो
ताल खुदाए,
फिर ज़मीन पर
गाल बजाए ।
कैसा हो
सरपंच हमारा ?
फोटो भी हो
और रील हो ।
कैसा हो
सरपंच हमारा ?
टंच-फंच हो
सहनशील हो ।
000
—– ईश्वर दयाल गोस्वामी