” कुछ सीख तो लें “
डॉ लक्ष्मण झा”परिमल ”
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हम अपनी ग़लतियों से ही कुछ सीख पाते हैं । गलतियाँ सबसे होती हैं ।पर हम यदि सजग और सचेष्ट रहेंगे तो गलतियाँ कम होंगी । सिखने की उम्र कभी जाती नहीं है । ज्ञान की बातें हम किसीसे सीख सकते हैं । हम जब कभी भी फेसबुक पर कमेंट करते हैं या कुछ लिखते हैं तो उसे पोस्ट करने से पहले बार- बार पढ़ते हैं । यदि कुछ अटपटा सा लगने लगता हैं तो वेहिचक किसी से पूछते हैं अथवा गूगल के दरवाजे को खटखटाते हैं । क्योंकि हमारी एक गल्ती हमारे व्यक्तित्व को धूमिल कर देती है । इसे सारा विश्व पढ़ता है । हम जब कभी इन्हें नजर अन्दाज करके लाइक या शेयर कर देते हैं तो इसका अर्थ यह होता है कि हम भी उन गलतियों में शामिल हो गए ….मैं उन व्यक्तियों को गुरु मानता हूँ जो निः सकोच हमारी गलतियों को उजागर करते हैं ।और जब तक इन्हें हम सुधार नहीं लेते ..चैन की साँस कहाँ ?
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डॉ लक्ष्मण झा”परिमल ”
दुमका