""बहुत दिनों से दूर थे तुमसे _
आज वो दौर है जब जिम करने वाला व्यक्ति महंगी कारें खरीद रहा ह
Waiting for vibes and auras to match with the destined one.
क्या यह कलयुग का आगाज है?
ऐ./सी.राकेश देवडे़ बिरसावादी
हमारे तुम्हारे चाहत में, बस यही फर्क है।
बुंदेली दोहा - सुड़ी
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
गाना..... पन्ना की तमन्ना है कि हीरा मुझे मिल जाए...........
#हर_घर_तिरंगा @हर_घर_तिरंगा @अरविंद_भारद्वाज
रसों में रस बनारस है !
पाण्डेय चिदानन्द "चिद्रूप"
हिंदी साहित्य की नई विधा : सजल
ग़ज़ल सगीर
डॉ सगीर अहमद सिद्दीकी Dr SAGHEER AHMAD
हम दोनों यूं धूप में निकले ही थे,