कर्म और मैं _ मुक्तक
**कर्म और मैं ** _ मुक्तक
चला हूं कर्म पथ पर मैं कोई अड़चन ना आ जाए।
कर्म ही जीवन है मेरा कोई उलझन ना आ जाए।।
करूंगा कर्म पल पल मैं, खुशियां कर्म दिलाता।
प्रार्थना यही समय से है कर्म में व्यवधान ना आ पाए।।
राजेश व्यास अनुनय